प्रतिकूल जलवायु परिवर्तन के परिपेक्ष्य में वनस्पतियों एवं जीवों का संरक्षण जहां वैश्विक चिंता का मुद्दा बन चुका है, वहीं वनवासियों की आजीविका का अधिकार एक मानवीय मुद्दा है। इन दोनों मुद्दों के बीच संतुलन बनाने के लिए क्या कदम उठाए गए हैं? स्पष्ट करें।

उत्तरः वनवासियों के अधिकारों और विकास के मुद्दे के बीच संतुलन बनाने के लिए सरकार ने निम्नलिखित उपाय किए हैंः

  • राष्ट्रीय वन नीति, 1988 वन एवं वन क्षेत्र में निवास करने वाले समुदायों के बीच सहजीवी संबंध को मान्यता देती है।
  • अनुसूचित जनजाति तथा अन्य पारंपरिक वन निवासी (वन अधिकार मान्यता) अधिनियम, 2006, कमजोर सामाजिक-आर्थिक वर्ग की रक्षा करने तथा उन्हें जीवन एवं आजीविका संबंधी अधिकार देने के साथ-साथ पर्यावरण के अधिकार को संतुलित करने के लिए लागू किया गया था।
  • गौण.वन उपज (Minor Forest Produce)के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (Minimum Support Price)के माध्यम से विपणन तंत्र और ....
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