आनुवंशिक रूप से संशोधित फसल अनुसंधान मानदंडों में छूत

भारत सरकार के जैव प्रौद्योगिकी विभाग (डीबीटी) ने 20 मई, 2022 को आनुवंशिक रूप से संशोधित (जीएम) फसलों में अनुसंधान के लिए मानदंडों को आसान बनाने और फसलों की रूपरेखा (प्रोफाइल) को बदलने के लिए विदेशी जीन का उपयोग करने संबंधी चुनौतियों को दूर करने के लिए दिशा-निर्देश जारी किए हैं।

आनुवंशिक रूप से संशोधित पादपों के सुरक्षा आकलन हेतु दिशा-निर्देश 2022: पौधे के जीनोम को संशोधित करने के लिए ‘जीन-संशोधन तकनीक’ (Gene-Editing Technology) का उपयोग करने वाले शोधकर्ताओं को ‘जेनेटिक इंजीनियरिंग आंकलन समिति’ (Genetic Engineering Appraisal Committee-GEAC) से अनुमोदन प्राप्त करने से छूट दी गई है।

  • GEAC जीएम ....
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