भारत का जनसांख्यिकीय लाभांश तथा इसका दोहन
हार्वर्ड अर्थशास्त्री डेविड ब्लूम और डेविड कैनिंग ने ‘जनसांख्यिकीय लाभांश’ शब्द का प्रयोग किसी देश की जनसंख्या व आयु संरचना में परिवर्तन से होने वाले आर्थिक विकास में वृद्धि का वर्णन करने के लिए किया था। यह समय की अवधि, आमतौर पर 20 से 30 वर्ष को संदर्भित करता है, जिसके दौरान प्रजनन दर में गिरावट आती है और देश की कार्यशील उम्र की आबादी (15 से 64 वर्ष की आयु) अपनी आश्रित आबादी (14 और उससे कम, 65 और अधिक) के अनुपात में बढ़ती है।
- यदि स्वास्थ्य, शिक्षा, शासन और अर्थव्यवस्था में सही सामाजिक और आर्थिक निवेश तथा नीतियां बनाई ....
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मुख्य विशेष
- 1 भारत में उपशामक देखभाल और बुजुर्ग लोग
- 2 स्वास्थ्य देखभाल प्रणाली की चुनौतियां एवं नीति
- 3 बहुआयामी गरीबी
- 4 सूक्ष्म वित्त संस्थान
- 5 भारत में बाल विवाह
- 6 महिला सशक्तीकरण और लैंगिक न्याय
- 7 निजी क्षेत्र में स्थानीय आरक्षण
- 8 कॉर्पोरेट सामाजिक उत्तरदायित्व का सामाजिक-आर्थिक प्रभाव
- 9 सहकारिता के माध्यम से सामाजिक-आर्थिक समृद्धि
- 10 ग्रामीण-शहरी डिजिटल डिवाइड
- 11 भारत में सुभेद्य वर्ग: नीतिगत चुनौतियां एवं कल्याण के उपाय
- 12 उच्च शिक्षा की वर्तमान स्थिति : चुनौती एवं समाधान
- 13 जातिगत जनगणना : आवश्यकता एवं मुद्दे
- 14 भारत में कुपोषण की समस्या : सरकार के कदम एवं उपाय
- 15 भारत में गुणवत्तापूर्ण शिक्षा : महत्व एवं मुद्दे
- 16 अधिकार आधारित विकास तथा सामाजिक न्याय: मूल्यांकन
- 17 सामाजिक न्याय व विकास संबंधी अधिकार आधारित पहलें
- 18 विकास, सामाजिक न्याय तथा अधिकारों के एकीकरण में एनजीओ की भूमिका
- 19 अधिकार आधारित दृष्टिकोण के कार्यान्वयन की रूपरेखा
- 20 अधिकार आधारित दृष्टिकोण के महत्वपूर्ण सिद्धांत
- 21 सामाजिक न्याय तथा विकास के लिए अधिकार आधारित दृष्टिकोण
- 22 न्यायिक खामियों को दूर करने के उपाय
- 23 न्यायिक प्रणाली से संबंधित मुद्दे व चुनौतियां
- 24 भारतीय न्यायिक प्रणाली मुद्दे एवं चुनौतियां
- 25 भारतीय जेलों में मासिक धर्म स्वच्छता
- 26 LGBTQIA+ से संबंधित सामाजिक पूर्वाग्रह और कलंक: परिणाम एवं समाधान
- 27 भारत की वृद्ध आबादी: समावेशी सामाजिक बुनियादी ढांचे की आवश्यकता
- 28 आदिवासी समाज को मुख्यधारा में लाना: चुनौतियां और प्रमुख अनिवार्यताएं
- 29 शारीरिक स्वायत्तता बनाम भ्रूण अधिकार
- 30 शहरी गरीबी: उपशमन की आवश्यकता
- 31 भारत में लैंगिक असमानता
- 32 भारत में मूलभूत साक्षरता
- 33 भारत में मानसिक स्वास्थ्य देखभाल
- 34 भारत में बाल कुपोषण
- 35 भारत में ट्रांसजेंडर अधिकार
- 36 अपरिपक्व जन्म: वर्तमान स्थिति एवं प्रयास
- 37 भारत में बाल यौन अपराध: संबंधित मुद्दे तथा उपाय
- 38 स्थानीय से वैश्विकः जनजातीय उत्पादों का प्रोत्साहन
- 39 सहकारिता में महिलाओं और युवाओं की भागीदारी
- 40 ग्रामीण स्वच्छता कवरेज
- 41 भारत में निवारक स्वास्थ्य देखभाल
- 42 सार्वजनिक वितरण प्रणाली का सार्वभौमीकरण
- 43 भारत में गर्भपात कानून
- 44 स्वयं सहायता समूह: भारत के सामाजिक-आर्थिक विकास में भूमिका
- 45 प्रारं भिक बाल्यावस्था देखभाल और शिक्षा
- 46 मातृ एवं नवजात देखभाल
- 47 लैंगिक संवेदनशीलता
- 48 सामान्य अध्ययन 90 महत्वपूर्ण विषय - नागरिक समाज (जीएस पेपर-2)