भारत सरकार द्वारा पहली मानव जीनोम मैपिंग परियोजना को हाल ही में मंजूरी प्रदान की गई है। जीनोम मैपिंग शोधकर्ताओं को कैंसर जैसी बीमारियों के इलाज के लिए प्रभावी उपचार विकसित करने में मदद करेगा। जैव प्रौद्योगिकी विभाग (DBT) की योजना है कि लगभग 20,000 भारतीय जीनोम को पांच वर्षों में स्कैन किया जाए और कैंसर के नैदानिक परीक्षण का विकास किया जाए।
विशेषताएं
पहले चरण में देश की जैविक विविधता को समझने के लिए लगभग 10,000 भारतीयों के जीनोम का अनुक्रमण करना शामिल है।
जीनोम अनुक्रमण
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प्रभाव
प्रदूषण और जीवन शैली में बदलाव के कारण कैंसर अब सबसे प्रचलित गैर संचारी रोगों में से एक बन गया है। पर्यावरण के साथ सद्भाव में रहने की आदत विकसित करने के साथ इस डोमेन में वैज्ञानिक शोध की आवश्यकता है।