डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर (DFC)

यह उच्च गति और उच्च क्षमता वाला विश्व स्तरीय तकनीक के अनुसार बनाया गया एक रेल मार्ग होता है, जिसे विशेष तौर पर माल एवं वस्तुओं के परिवहन हेतु बनाया जाता है।

  • डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर (क्थ्ब्) में बेहतर बुनियादी ढांचे और अत्याधुनिक प्रौद्योगिकी का एकीकरण शामिल होता है।
  • सरकार द्वारा दो डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर- ईस्टर्न डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर और वेस्टर्न डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर बनाए जा रहे हैं।

ईस्टर्न डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर: यह पंजाब में साहनेवाल (लुधियाना) से पश्चिम बंगाल के दनकुनी में समाप्त होता है, जो कोयला खदानें, थर्मल पावर प्लांट और औद्योगिक शहर जैसे क्षेत्रों से होकर गुजरता है।

  • इसमें पंजाब, हरियाणा, उत्तर प्रदेश, बिहार, झारखंड और पश्चिम बंगाल आदि राज्य शामिल हैं।
  • इस परियोजना का अधिकांश हिस्सा विश्व बैंक द्वारा वित्तपोषित है।

वेस्टर्न डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर : यह 1504 किलोमीटर लंबा कॉरिडोर है जो , जवाहरलाल नेहरू पोर्ट टर्मिनल (महाराष्ट्र) से दादरी (उत्तर प्रदेश) तक विस्तृत है तथा यह देश के प्रमुख बंदरगाहों से होकर गुजरता है। यह हरियाणा, राजस्थान, गुजरात, महाराष्ट्र और उत्तर प्रदेश राज्यों से होकर गुजरता है। यह जापान अंतरराष्ट्रीय सहयोग एजेंसी (श्रप्ब्।) द्वारा वित्तपोषित है।

  • ईस्टर्न डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर और वेस्टर्न डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर को आपस में जोड़ने के लिये दादरी और खुर्जा के बीच एक खंड निर्माणाधीन है।