भारत के मुख्य न्यायाधीश ने शासन कार्यों में हिंदी और अंग्रेजी के अलावा अन्य भाषाओं को भी शामिल किये जाने की आवश्यकता बताई है।
प्रमुख बिंदु
सरकार को अन्य भाषाओं को शासन कार्यों में शामिल करने के लिये ‘राजभाषा अधिनियम’ (official Languages Act)- 1963 में संशोधन करने की आवश्यकता होगी।
राजभाषा अधिनियम-1963
राजभाषा अधिनियम, 1963 ( वर्ष 1967 में संशोधन) निम्नलिखित उद्देश्यों के लिये उपयोग की जाने वाली भाषाओं को निर्धारित करता हैः
संवैधानिक प्रावधान
संविधान के भाग-17 के अनुचछेद 343 से 351 तक में राजभाषा संबंधी प्रावधान किये गए हैं।
राष्ट्रभाषा और राजभाषा में अंतर
क्षेत्रीय भाषा
संविधान में राज्यों के लिये किसी विशेष भाषा का उल्लेख नहीं किया गया। किसी राज्य की विधायिका उस राज्य में एक या अधिक भाषा अथवा हिंदी का चुनाव ‘आधिकारिक भाषा’ के रूप में कर सकती है।