मानव संसाधान - कल्याण के साथ विकास को अनुकूलित करना
परिवर्तित कल्याणकारी दृष्टिकोणः पिछले दशक में, भारत सामाजिक क्षेत्र के खर्च और बुनियादी सुविधाओं तक सार्वभौमिक पहुंच पर ध्यान केंद्रित करते हुए अधिक दीर्घकालिक, कुशल और सशक्त कल्याण दृष्टिकोण की ओर स्थानांतरित हो गया है।
- सार्वभौमिक पहुंच कार्यक्रमः उज्ज्वला योजना, पीएम-जन आरोग्य योजना, पीएम-जल जीवन मिशन और पीएम-आवास योजना जैसी पहलों ने महत्व बढ़ाया है, जिनसे सामाजिक संपत्ति निर्माण हुआ है और व्यक्तियों के जीवन-स्तर में वृद्धि हुई है।
- डिजिटल पहलें: वन नेशन वन राशन कार्ड और जन धन योजना-आधार-मोबाइल (JAM) जैसे डिजिटल प्लेटफॉर्मों ने वित्तीय कुशलता में सुधार किया है, कल्याणकारी योजनाओं में रिसावों को कम किया ....
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भारतीय अर्थव्यवस्था - एक समीक्षा
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- 10 भारतीय उद्योग में सुधार को बढ़ावा
- 11 डिजिटल अवसंरचना और नागरिक-केंद्रित सेवाओं की डिलीवरी
- 12 अर्थव्यवस्था की बढ़ती निवेश आवश्यकताएं तथा वित्तीय बाजारों का विकास
- 13 व्यापक आर्थिक स्थिरता की सुरक्षा
- 14 कल्याण के प्रति नया दृष्टिकोण
- 15 महिला-नेतृत्व के माध्यम से विकासः India/100 के लिए लैंगिक लाभांश का दोहन
- 16 पिछले दशक में रोजगार की स्थिति
- 17 कौशल विकास और उद्यमिता
- 18 भारत का बाह्य क्षेत्र: अनिश्चितताओं के बीच सुरक्षित रूप से संचालन
- 19 जलवायु कार्रवाई
- 20 लोचशीलता निर्मित करने की दिशा में भारत की जलवायु कार्रवाई
- 21 आर्थिक परिदृश्य