ग्लोबल जेंडर वेल्थ इक्विटी रिपोर्ट 2022
- 10 Nov 2022
2 नवम्वर, 2022 को ‘ग्लोबल जेंडर वेल्थ इक्विटी रिपोर्ट-2022’ का प्रकाशन संयुक्त रूप से WTW और वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम (WEF) द्वारा जारी किया गया|
मुख्य विन्दु-
- यह रिपोर्ट विश्व के 5 क्षेत्रों में लिंग आधारित धन अंतर की जांच करती है।
- यह करियर, परिवार के समर्थन, जीवन की घटनाओं और वित्तीय साक्षरता के परस्पर प्रभाव के आधार पर असमानता के पीछे के कारणों का आकलन करती है|
- यह सेवानिवृत्ति के समय महिलाओं और पुरुषों के बीच लैंगिक संपत्ति के अंतर को मापती है। एशिया-प्रशांत (APAC) देशोंमें, भारत की सबसे खराब लैंगिक संपत्ति अंतर (64%) था। इसका एक प्रमुख कारक भारत का लैंगिक आधारित वेतन अंतर है|
- इस रिपोर्ट के मुताबिक, जब महिलाएं रिटायर होंगी, तो उनके पास पुरुषों की अपेक्षा जमा हुई संपत्ति का सिर्फ 74 फीसदी होगा।
भारत की स्थिति-
- एशिया-प्रशांत देशों में भारत में लैंगिक संपत्ति का सबसे खराब अंतर है।
- भारत का लैंगिक आधारित वेतन अंतर वैश्विक औसत से अधिक है।
- महिलाओं के लिए नेतृत्व की भूमिकाएं सीमित हैं; जबकि कार्यबल में 3% महिलाएं ही वरिष्ठ स्तर के पदों पर हैं।
- महिलाएं कम उम्र में ही बच्चों की जिम्मेदारियां संभाल लेती हैं। लंबी अवधि के वित्तीय निर्णय आम तौर पर पुरुषों के हाथों में होते हैं|
- कामकाजी महिलाओं के लिए वित्तीय साक्षरता भारत में कम होती है।
सामयिक खबरें
सामयिक खबरें
सामयिक खबरें
राष्ट्रीय
- राजनीति और प्रशासन
- अवसंरचना
- आंतरिक सुरक्षा
- आदिवासियों से संबंधित मुद्दे
- कमजोर वर्गों के लिए कल्याणकारी योजनाएँ
- कार्यकारी और न्यायपालिका
- कार्यक्रम और योजनाएँ
- कृषि
- गरीबी और भूख
- जैवविविधता संरक्षण
- पर्यावरण
- पर्यावरण प्रदूषण, गिरावट और जलवायु परिवर्तन
- पारदर्शिता और जवाबदेही
- बैंकिंग व वित्त
- भारत को प्रभावित करने वाले द्विपक्षीय, क्षेत्रीय और वैश्विक समूह
- भारतीय अर्थव्यवस्था
- रक्षा और सुरक्षा
- राजव्यवस्था और शासन
- राजव्यवस्था और शासन
- रैंकिंग, रिपोर्ट, सर्वेक्षण और सूचकांक
- विज्ञान और प्रौद्योगिकी
- शिक्षा
- सरकार की नीतियां और हस्तक्षेप
- सांविधिक, विनियामक और अर्ध-न्यायिक निकाय
- स्वास्थ्य से संबंधित मुद्दे