आधारभूत शिक्षण अध्ययन
- 01 Apr 2022
23 से 26 मार्च, 2022 तक देश भर में कक्षा 3 के एक लाख छात्रों ने आधारभूत शिक्षण अध्ययन (foundational learning study) में भाग लिया।
उद्देश्य: प्रारंभिक स्कूली वर्षों में साक्षरता और संख्यात्मक गणना में सुधार के लिए केंद्र के निपुण भारत मिशन के लिए एक आधार तैयार करने हेतु कक्षा-3 के छात्रों की बुनियादी शिक्षा का व्यापक पैमाने पर मूल्यांकन करना।
(Image Source: https://indianexpress.com/)
महत्वपूर्ण तथ्य: राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद (एनसीईआरटी) द्वारा किए गए इस अध्ययन का उद्देश्य 22 भारतीय भाषाओं में समझ के साथ पढ़ने से संबंधित मानक स्थापित करना है।
- इस अध्ययन में लगभग 10,000 स्कूलों और एक लाख छात्रों ने हिस्सा लिया।
- राष्ट्रीय शिक्षा नीति, 2020 के अनुसार "पढ़ने और लिखने की क्षमता तथा संख्याओं के साथ बुनियादी गणना करने की क्षमता", भविष्य की स्कूली शिक्षा और आजीवन सीखने के लिए एक आवश्यक आधार और एक अनिवार्य शर्त है।
- शिक्षा की वार्षिक स्थिति रिपोर्ट (Annual Status of Education Report: ASER) सहित गैर-सरकारी सर्वेक्षणों से पता चला है कि देश भर के ग्रामीण स्कूलों में कक्षा 3 के अधिकांश बच्चों में ये बुनियादी कौशल नहीं हैं।
- वर्ष 2021 में शिक्षा मंत्रालय ने 2026-27 तक कक्षा 3 तक के बच्चों के लिए सार्वभौमिक साक्षरता और संख्या गणना सुनिश्चित करने के लिए 'समझ के साथ पढ़ने तथा संख्या गणना में निपुणता के लिए राष्ट्रीय पहल' (निपुण भारत) (National Initiative for Proficiency in Reading with Understanding and Numeracy) का शुभारंभ किया था।
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