मंत्रिमंडल द्वारा सभी वित्तीय संस्थानों के लिए लघु अवधि के कृषि ऋणों पर ब्याज छुट को बहाल कर 1.5 प्रतिशत करने की मंजूरी दी गई है। इससे पहले ब्याज छुट योजना के लिए बैंकों को केन्द्रीय सहायता वर्ष 2020 में बंद कर दी गई थी। इसका कारण यह था कि बैक स्वयं 7 प्रतिशत पर लघु अवधि के कृषि ऋण देने में सक्षम थे।
योजना का उद्देश्य : किसानों को रियायती ब्याज दरों पर लघु अवधि के ऋण प्रदान करना है।