नवम्बर, 2021 में ‘राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग’ (NHRC) ने केंद्रीय गृह मंत्रालय और राज्य सरकारों को ‘प्रकाश सिंह बनाम भारत संघ’ वाद (2006) के निर्णय के अनुसार ‘पुलिस शिकायत प्राधिकरण’ स्थापित करने के लिये कहा है।
राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग की सिफारिशें: प्रमाण-भार (Burden of Proof) : गृह मंत्रालय और विधि मंत्रालय को भारतीय साक्ष्य अधिनियम, 1872 में धारा 114(ठ) जोड़ने के लिये भारतीय विधि आयोग की 113वीं रिपोर्ट की सिफारिशों को लागू करने पर विचार करना चाहिये।
प्रौद्योगिकी अनुकूल आपराधिक न्याय प्रणालीः आपराधिक न्याय प्रणाली को गति देने के लिये कानूनी ढांचे को प्रौद्योगिकी के अनुकूल बनाया जाना चाहिये। वर्तमान में कानूनी ढांचा आपराधिक न्याय प्रणाली में प्रौद्योगिकी को अपनाने के लिये उपयुक्त नहीं है।
जवाबदेही सुनिश्चित करनाः आयोग ने यह भी सिफारिश की है कि सभी पुलिस स्टेशनों में नाइट विजन के साथ सीसीटीवी कैमरे लगाने के सर्वोच्च न्यायालय के दिसंबर 2020 के आदेश को जवाबदेही सुनिश्चित करने हेतु तत्काल प्रभाव से लागू किया जाना चाहिये।
सामुदायिक पुलिसिंगः आयोग ने सामुदायिक पुलिसिंग के हिस्से के रूप में पुलिस स्टेशनों के साथ प्रशिक्षित सामाजिक कार्यकर्त्ताओं और कानून के छात्रों को शामिल करने तथा पुलिस मैनुअल, कानूनों व सलाह में सामुदायिक पुलिसिंग को शामिल करने पर भी जोर दिया।