‘निर्वाचन प्रक्रियाओं में दिव्यांगजनों (पीडब्ल्यूडी) का समावेशन’ विषय पर एक अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन जनवरी, 2018 में आयोजित किया गया, जिसने अंतरराष्ट्रीय अनुभव को समेकित करने तथा उससे लाभ प्राप्त करने में सहायता की। इससे पहले, दिव्यांगजनों को शामिल किए जाने के समर्थन में आयोग ने 12 मार्च, 2016 तथा 7 सितम्बर, 2016 को निर्णय दिया था। दिव्यांगजनों के लिए निर्वाचन को सुलभ बनाने के लिए पिछले वर्षों में अनेक प्रयास किए गए हैं। आयोग द्वारा निर्वाचन प्रक्रिया के हर चरण में दिव्यांगजनों की सुविधा के लिए एक सुव्यवस्थित दिशा-निर्देश दिया गया है। अनेक राज्यों और संघ शासित क्षेत्रों ने आगामी बाधाओं को दूर करने तथा दिव्यांगजनों के लिए सुलभ एवं हितैषी वातावरण बनाने हेतु शानदार कार्य किए हैं।
भारत निर्वाचन आयोग (ECI) भारतीय संविधान के अनुच्छेद 324 एक स्वतंत्र निर्वाचन आयोग का प्रावधान करता है। इसका गठन भारत के संविधान द्वारा देश में स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव संपन्न कराने के उद्देश्य से 25 जनवरी, 1950 को किया गया था।
इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन इनका निर्माण इलेक्ट्रॉनिक्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड (ECIL) और भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड (BEL) द्वारा किया गया है। यह कंट्रोल यूनिट में लगी सिगल एल्कलाइन बैटरी से संचालित होती है और उन क्षेत्रों में भी इसका प्रयोग किया जा सकता है, जहां विद्युत नहीं है।
वोटर वैरीफिएबल पेपर ऑडिट ट्रेल (VVPAT) Voter Verifiable paper Audlit Trail (VVPAT) एक स्वतंत्र सत्यापन प्रणाली है, जो मतदाताओं को यह सत्यापित करने की अनुमति देता है कि उनका मत सही रूप से दर्ज हुआ है।
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