सॉलिड फ्यूल डक्टेड रैमजेट तकनीक पर आधारित उड़ान परीक्षण
- 12 Mar 2021
रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन (DRDO) ने 5 मार्च, 2021 को ओडिशा के तट से दूर एकीकृत परीक्षण रेंज (ITR) चांदीपुर से ‘सॉलिड फ्यूल डक्टेड रैमजेट’ (Solid Fuel Ducted Ramjet - SFDR) तकनीक पर आधारित उड़ान परीक्षण को सफलतापूर्वक अंजाम दिया।
महत्वपूर्ण तथ्य: ठोस ईंधन आधारित डक्टेड रैमजेट तकनीक के सफल प्रदर्शन ने DRDO को तकनीकी लाभ प्रदान किया है, जिससे वह लंबी दूरी की हवा से हवा में मार करने वाली मिसाइलें विकसित कर पाएगा।
- वर्तमान में ऐसी तकनीक सिर्फ दुनिया के गिने-चुने देशों के पास ही उपलब्ध है।
- ठोस ईंधन पर आधारित SFDR 'एयर ब्रीथिंग रैमजेट प्रणोदन तकनीक' (air breathing ramjet propulsion technology) है, जो लंबी दूरी के लक्ष्य तक मार करने के लिए उच्च सुपरसोनिक गति (मैक 2 से ऊपर) पर मिसाइल के संचालन में मदद करती है।
- एयर ब्रीथिंग रैमजेट प्रणोदन तकनीक में रैमजेट मिसाइल ईंधन के दहन के लिये आवश्यक ऑक्सीजन को हवा से लेती है।
- DRDO ने 2017 में सबसे पहले SFDR विकसित करना शुरू किया और 2018 और 2019 में भी सफल परीक्षण किए।
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