​विदेशी न्यायाधिकरण

  • हाल ही में, सर्वोच्च न्यायालय ने 'असम विदेशी न्यायाधिकरण' के फैसले को पलटते हुए राज्य के निवासी को भारतीय नागरिक घोषित किया है।
  • विदेशी अधिकरण (FT) अर्द्ध-न्यायिक निकाय होते हैं, जिनका गठन केंद्र सरकार द्वारा विदेशियों विषयक अधिनियम, 1946 की धारा 3 के अंतर्गत विदेशी विषयक (अधिकरण) आदेश, 1964 के माध्यम से किया गया है।
  • इन्हें सिविल प्रक्रिया संहिता, 1908 के अंतर्गत सिविल न्यायालय की शक्तियां प्राप्त होती है तथा इनके पास किसी व्यक्ति को विदेशी घोषित करने का अधिकार होता ....
क्या आप और अधिक पढ़ना चाहते हैं?
तो सदस्यता ग्रहण करें
इस अंक की सभी सामग्रियों को विस्तार से पढ़ने के लिए खरीदें |

पूर्व सदस्य? लॉग इन करें


वार्षिक सदस्यता लें
सिविल सर्विसेज़ क्रॉनिकल के वार्षिक सदस्य पत्रिका की मासिक सामग्री के साथ-साथ क्रॉनिकल पत्रिका आर्काइव्स पढ़ सकते हैं |
पाठक क्रॉनिकल पत्रिका आर्काइव्स के रूप में सिविल सर्विसेज़ क्रॉनिकल मासिक अंक के विगत 6 माह से पूर्व की सभी सामग्रियों का विषयवार अध्ययन कर सकते हैं |

संबंधित सामग्री

करेंट अफेयर्स न्यूज़