सरकारी व्यय के क्षेत्र

सरकार द्वारा अपने विभिन्न कार्यों के संचालन के लिए अलग.अलग मदों में व्यय करना पड़ता हैं। आमतौर पर सरकार संसद में वार्षिक बजट पेश करते समय इसका लेखा.जोखा प्रस्तुत करती है। परन्तु समय.समय पर विभिन्न प्रकार की आकस्मिक खर्च भी उत्पन्न हो जाते हैं, जिनका उल्लेख वार्षिक बजट में नहीं किया गया होता है।

  • संपत्ति और देनदारियों पर उनके प्रभाव के आधार पर केंद्र सरकार के व्यय को निम्नलिखित दो भागों में बांटा जा सकता हैः
    1. पूंजीगत व्यय,
    2. राजस्व व्यय,
  • पूंजीगत व्यय (Capital Expenditure): ये सरकार के वे व्यय हैं, जिसके परिणामस्वरूप भौतिक या वित्तीय परिसम्पत्तियों का सृजन या वित्तीय दायित्वों में कमी होती ....
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