ईज (Enhanced Access and Service Excellence-EASE) सूचकांक ‘भारतीय बैंक संघ’ (Indian Banks' Association-IBA) और बॉस्टन कंसल्टिंग ग्रुप (Boston Consulting Group-BCG) के सहयोग से तैयार किया जाता है।
ईज सुधारों (EASE Reforms) का उद्देश्य सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों (Public Sector Banks) में संस्थागत रूप से स्पष्ट एवं स्मार्ट बैंकिंग प्रणाली को लागू करना है।
ईज बैंकिंग सुधार सूचकांक की शुरुआत वर्ष 2018 में की गई थी।
ईज 2.0 में 6 विषयों (जिम्मेदार बैंकिंग, ग्राहक जवाबदेही, उद्दमनिक के रूप में पीएसबी, गहन वित्तीय समावेशन, ऋण वितरण प्रशासन एवं एचआर) को शामिल किया गया था।