प्रसाद योजना के तहत, पर्यटन मंत्रालय राज्य सरकारों / केंद्र शासित प्रदेशों को केंद्रीय तीर्थयात्रा स्थलों के विकास और सौंदर्यीकरण के लिए केंद्रीय वित्तीय सहायता (CFA) प्रदान करता है।
सर्व प्रथम अमरावती (आंध्र प्रदेश), गया (बिहार), द्वारका (गुजरात), अमृतसर (पंजाब), अजमेर (राजस्थान), कांचीपुरम (तमिलनाडु), वेल्लनकनी (तमिलनाडु), पुरी (ओडिशा), वाराणसी (उत्तर प्रदेश), मथुरा (उत्तर प्रदेश), केदारनाथ (उत्तराखंड) और कामाख्या (असम) जैसे बारह शहर पर्यटन मंत्रालय द्वारा प्रसाद योजना के तहत विकास के लिए चुने गये थे।
हाल ही में सरकार ने उत्तराखंड में गंगोत्री और यमुनोत्री, मध्य प्रदेश में अमरकंटक और झारखंड में पारसनाथ को इस योजना के तहत शामिल किया है।
नए स्थलों के जुड़ने के साथ प्रसाद योजना के तहत स्थलों की संख्या 41 हो गई है, जो 25 राज्यों में स्थित हैं।
प्रसाद योजना को लागू करने के लिए पर्यटन मंत्रालय में एक मिशन निदेशालय स्थापित किया गया है।
इस योजना का लक्ष्य इन स्थलों पर बुनियादी ढांचे का विकास करना है, जैसे कि सड़क, रेल और जल परिवहन, सूचना केंद्र, एटीएम / मुद्रा विनिमय की सुविधाएं, पार्किंग, पीने का पानी, शौचालय, कमरे, प्रतीक्षालय, प्राथमिक चिकित्सा केंद्र, शिल्प बाजार / हाट, स्मारिका दुकानें, कैफेटेरिया, दूरसंचार सुविधाएं, इंटरनेट कनेक्टिविटी आदि।