डब्ल्यूएचओ ने वैश्विक वायु प्रदूषण मानकों को कड़ा किया
- 06 Oct 2021
विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) ने 2005 के बाद से अपने पहले अपडेट में सितंबर 2021 में वैश्विक वायु प्रदूषण मानकों को कड़ा किया है।
महत्वपूर्ण तथ्य: 2005 के मानकों के अनुसार PM2.5 की वर्तमान वार्षिक औसत ऊपरी सीमा 10 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर है, इसे अब संशोधित कर 5 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर कर दिया गया है।
- PM2.5 की 24 घंटे की औसत ऊपरी सीमा 25 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर थी, जिसे अब घटाकर 15 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर कर दी गई है।
- PM10 की, वार्षिक औसत ऊपरी सीमा 20 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर है और अब इसे संशोधित कर 15 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर कर दिया गया है, जबकि 24 घंटे की औसत ऊपरी सीमा को 50 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर से 45 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर तक संशोधित किया गया है।
- भारत के राष्ट्रीय परिवेशी वायु गुणवत्ता मानक (NAAQs), जिसे 2009 में अंतिम बार संशोधितकिया गया था, में PM2.5 के लिए वार्षिक ऊपरी सीमा 40 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर और 24 घंटे की अवधि के लिए 60 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर तथा PM10 के लिए वार्षिक औसत ऊपरी सीमा 60 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर और 24 घंटे की अवधि के लिए 100 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर है।
जीके फैक्ट: हर साल, वायु प्रदूषण के संपर्क में आने से 7 मिलियन असामयिक मौतों का अनुमान है।
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