दिव्यांग बच्चों के लिए ई-सामग्री विकसित करने संबंधित दिशा-निर्देश
- 10 Jun 2021
केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय द्वारा 8 जून, 2021 को दिव्यांग बच्चों के लिए ई-सामग्री (e-Content) के विकास के संबंध में दिशा-निर्देश जारी किए जाने को मंजूरी दे दी गई है।
महत्वपूर्ण तथ्य: डिजिटल/ऑनलाइन/ऑन-एयर शिक्षा से संबंधित सभी प्रयासों को एकीकृत करने के उद्देश्य से 17 मई 2020 को एक व्यापक पहल, 'प्रधानमंत्री ई-विद्या' (PM e-VIDYA शुरू की गई थी।
- कार्यक्रम में अन्य बातों के साथ-साथ दिव्यांग बच्चों के लिए विशेष ई-सामग्री के विकास की परिकल्पना की गई है।
- इसी को देखते हुए शिक्षा मंत्रालय के स्कूली शिक्षा और साक्षरता विभाग ने इन बच्चों के लिए ई-सामग्री विकसित करने हेतु दिशा-निर्देशों की सिफारिश करने के लिए विशेषज्ञों की एक समिति का गठन किया था।
दिशा- निर्देशों की मुख्य बातें: दिव्यांग बच्चों या विशिष्ट जरूरतों वाले बच्चों के लिए ई-सामग्री का विकास चार सिद्धांतों ‘देखने और सुनने से समझने योग्य’ (perceivable), ‘लागू किए जाने योग्य’, ‘समझने योग्य’ (understandable) तथा ‘सुदृढ़ता’ के आधार पर किया जाए।
- सभी पाठ, पहाड़े, आकृतियां, दृश्य (Visuals), ऑडियो, वीडियो आदि समेत सभी तरह की ई-सामग्री अभिगम्यता (पहुंच बनाने वाले) स्तर, राष्ट्रीय स्तर और अंतरराष्ट्रीय स्तर के होने चाहिए।
- जिस प्लेटफार्म (दीक्षा आदि) पर इसे अपलोड किया जाएगा तथा पठन पाठन प्लेटफार्म ‘उपकरण (ई-पाठशाला आदि), जिस पर ई-सामग्री को एक्सेस किया जाएगा, को तकनीकी मानकों के अनुरूप बनाना होगा।
- विशिष्ट जरूरतों वाले बच्चों की विशिष्ट जरूरतों को पूरा करने के लिए ‘उचित शैक्षणिक आवास’ (Reasonable pedagogical accommodations) बनाने की भी सिफारिश की गई।
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