हिमालयन सीरो
- 15 Dec 2020
दिसंबर 2020 में हिमालय के शीत मरुस्थल क्षेत्र में पहली बार 'हिमालयन सीरो' (Himalayan serow) को देखा गया। इसे हिमाचल प्रदेश के स्पीति में हर्लिंग गांव के पास देखा गया।
महत्वपूर्ण तथ्य: हिमालयन सीरो या ‘केप्रिकार्निस सुमाट्रेन्सिस थार’ (Capricornis sumatraensis thar) मुख्य भूमि सीरो (केप्रिकार्निस सुमाट्रेन्सिस) की एक उप-प्रजाति है।
- 'हिमालयन सीरो' एक बकरी, एक गधा, एक गाय और एक सुअर का संकर (Cross) प्रतीत होता है। यह एक बड़े सिर, मोटी गर्दन, छोटे अंग, लंबे, खच्चर जैसे कान, और काले बालों के आवरण के साथ एक मध्यम आकार का स्तनपायी है।
- हिमालयन सीरो शाकाहारी हैं, और आमतौर पर 2,000 मीटर से 4,000 मीटर तक की ऊंचाई पर पाए जाते हैं। ये पूर्वी, मध्य और पश्चिमी हिमालय में पाए जाते हैं, लेकिन ट्रांस हिमालयन क्षेत्र में नहीं पाये जाते।
- स्पीति घाटी की समुद्र तल से औसत ऊंचाई 4,270 मीटर है। इस ऊंचाई पर आमतौर पर सीरो नहीं पाए जाते हैं, और इससे पहले कभी भी हिमालय के शीत मरुस्थल में किसी सीरो को नहीं देखा गया था।
- हिमालयी सीरो का पहले 'संकटासन्न’ (Near threatened) के रूप में मूल्यांकन किया गया था, लेकिन अब इसे IUCN रेड लिस्ट में 'अतिसंवेदनशील’ (vulnerable) के रूप में वर्गीकृत किया गया है।
- यह वन्यजीव संरक्षण अधिनियम, 1972 की अनुसूची I के तहत सूचीबद्ध है, जो इसे पूर्ण सुरक्षा प्रदान करता है।
सामयिक खबरें
सामयिक खबरें
सामयिक खबरें
राष्ट्रीय
- राजनीति और प्रशासन
- अवसंरचना
- आंतरिक सुरक्षा
- आदिवासियों से संबंधित मुद्दे
- कमजोर वर्गों के लिए कल्याणकारी योजनाएँ
- कार्यकारी और न्यायपालिका
- कार्यक्रम और योजनाएँ
- कृषि
- गरीबी और भूख
- जैवविविधता संरक्षण
- पर्यावरण
- पर्यावरण प्रदूषण, गिरावट और जलवायु परिवर्तन
- पारदर्शिता और जवाबदेही
- बैंकिंग व वित्त
- भारत को प्रभावित करने वाले द्विपक्षीय, क्षेत्रीय और वैश्विक समूह
- भारतीय अर्थव्यवस्था
- रक्षा और सुरक्षा
- राजव्यवस्था और शासन
- राजव्यवस्था और शासन
- रैंकिंग, रिपोर्ट, सर्वेक्षण और सूचकांक
- विज्ञान और प्रौद्योगिकी
- शिक्षा
- सरकार की नीतियां और हस्तक्षेप
- सांविधिक, विनियामक और अर्ध-न्यायिक निकाय
- स्वास्थ्य से संबंधित मुद्दे