इनसैट-3DS उपग्रह प्रक्षेपित
- 19 Feb 2024
17 फरवरी, 2024 को आंध्र प्रदेश के श्रीहरिकोटा में स्थित सतीश धवन अंतरिक्ष केंद्र से भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) द्वारा जीएसएलवी-F14 प्रक्षेपण यान के जरिये इनसैट-3DS उपग्रह को प्रक्षेपित किया गया।
- यह जीएसएलवी-F14 की 16वीं और स्वदेशी क्रायो स्टेज के साथ प्रक्षेपण यान की 10वीं उड़ान थी।
- इनसैट-3DS की मदद से प्राकृतिक आपदाओं का पूर्वानुमान लगाया जा सकेगा।
- इस सैटेलाइट का वजन 2274 किलोग्राम है और इसका उपयोग पृथ्वी विज्ञान, मौसम विज्ञान, खोज एवं बचाव तथा महासागरीय प्रौद्योगिकी (Ocean Technology) के लिए किया जाएगा।
- इसका उपयोग बादल, कोहरे, वर्षा, बर्फ, आग, धुआं, भूमि और समुद्रों की गहराई के शोध के लिए भी किया जाएगा।
- इनसैट-3DS सैटेलाइट के माध्यम से मौसम से जुड़ी जानकारी हासिल करने और भूमि संरक्षण के क्षेत्र में सुधार करने में भी मदद होगी।
- वर्तमान में मौसम संबंधी उपग्रह INSAT-3D और INSAT-3DR की सहायता से मौसम की जानकारी प्राप्त की जाती है।
- INSAT-3D को 26 जुलाई, 2013 को और INSAT-3DR को 8 सितंबर, 2016 को प्रक्षेपित किया गया था।
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