इसरो ने स्वदेशी स्टेलाइट नोजल डायवर्जेंट विकसित किया
- 21 Apr 2025
19 अप्रैल 2025 को भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) ने PSLV लॉन्च वाहन के चौथे चरण के नोजल डायवर्जेंट के लिए स्वदेशी स्टेलाइट (Stellite) सामग्री विकसित करने की घोषणा की, जिससे आयातित कोलंबियम (Columbium) की जगह ली जाएगी और लागत में 90% की बचत होगी।
प्रमुख तथ्य:
- स्वदेशी सामग्री: स्टेलाइट एक कोबाल्ट-आधारित मिश्रधातु है, जिसमें क्रोमियम, निकेल, टंगस्टन और लोहा शामिल हैं, जो 1150 डिग्री सेल्सियस तक उच्च तापमान में अपनी मजबूती बनाए रखती है।
- परीक्षण सफलता: ISRO ने 8 अप्रैल 2025 को महेन्द्रगिरी में अपने प्रोपल्शन कॉम्प्लेक्स में 665 सेकंड तक चलने वाला हॉट टेस्ट सफलतापूर्वक पूरा किया, जो इस सामग्री की विश्वसनीयता को साबित करता है।
- लागत बचत: इस स्वदेशी नोजल डायवर्जेंट के उपयोग से ISRO को आयातित कोलंबियम पर होने वाली लागत में लगभग 90% की कमी आएगी।
- PSLV चौथा चरण इंजन: PSLV के चौथे चरण (PS4) में प्रयुक्त तरल इंजन में यह नोजल डायवर्जेंट लगाया जाएगा, जो भारत के स्वदेशी विकास के तहत आता है।
- अन्य उपलब्धियां: ISRO ने महेन्द्रगिरी में मानवयुक्त गगनयान मिशन के लिए विकसित विकास इंजन के भी हॉट टेस्ट सफलतापूर्वक किए हैं, जो दो विकास इंजनों के क्लस्टर कॉन्फ़िगरेशन में अंतरिक्ष यात्रियों को ले जाने के लिए डिज़ाइन किया गया है।
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