राज्यपाल विधेयकों को अनिश्चितकाल तक नहीं रोक सकते: न्यायालय
10 नवंबर, 2023 को भारत के मुख्य न्यायाधीश डी- वाई- चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली 3 सदस्यीय पीठ ने राज्यपाल बनवारीलाल पुरोहित के खिलाफ पंजाब सरकार की याचिका पर दिए गए अपने फैसले में कहा कि ‘राज्यपाल किसी विधेयक को बिना किसी कार्रवाई के अनिश्चित काल तक लंबित रखने के लिए स्वतंत्र नहीं हैं’।
- पीठ ने कहा कि ‘राज्य के एक अनिर्वाचित प्रमुख के रूप में राज्यपाल को कुछ संवैधानिक शक्तियां सौंपी गई हैं’; लेकिन इस शक्ति का उपयोग राज्य विधायिका द्वारा कानून निर्माण की सामान्य प्रक्रिया को विफल करने के लिए नहीं किया जा सकता। यह फैसला महत्वपूर्ण है, क्योंकि ....
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![राष्ट्रीय परिदृश्य](https://www.chronicleindia.in/images/rashtriya.webp)
- 1 प्रसारण सेवा (विनियमन) विधेयक, 2023 का मसौदा
- 2 राष्ट्रीय फ़ार्मेसी आयोग विधेयक, 2023 का मसौदा
- 3 फ़ास्ट ट्रैक विशेष अदालत योजना का विस्तार
- 4 चुनावी बांड योजना की वैधाता
- 5 सांसदों एवं विधायकों पर आपराधिाक मुकदमा
- 6 पत्रकारों की डिजिटल गोपनीयता की रक्षा
- 7 16वें वित्त आयोग के लिए संदर्भ-शर्तों को मंजूरी
- 8 मैतेई चरमपंथी संगठनों के विरुद्ध यूएपीए के तहत प्रतिबंध
- 9 गलत सूचना एवं डीफेक की पहचान हेतु परामर्श जारी