​राष्ट्रीय भू-स्थानिक डेटा रिपोजिटरी

10 अगस्त 2024 को विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्रीडॉ. जितेंद्र सिंह ने राष्ट्रीय भू-स्थानिक डेटा रिपोजिटरी (National Geospatial Data Repository) और सार्वजनिक निजी भागीदारी (पीपीपी) मॉडल का प्रस्ताव दिया है। इस रिपोजिटरी का उद्देश्य एक एकीकृत भू-स्थानिक इंटरफ़ेस बनाना है जिसके माध्यम से किसानों, ग्रामीण कारीगरों और अन्य लोगों के कल्याण के लिए अभिनव और स्वदेशी उत्पाद बनाया जा सके।

  • इसके साथ ही उद्योग और स्टार्टअप पारिस्थितिकी तंत्र भी इसका उपयोग कर विभिन्न उत्पाद विकसित कर सकते हैं। विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्रालय निर्बाध भू-आईसीटी अवसंरचना एकीकरण और पीपीपी सहयोग के माध्यम से ज्ञान और संसाधनों के एकीकरण पर जोर दिया जा रहा ....
क्या आप और अधिक पढ़ना चाहते हैं?
तो सदस्यता ग्रहण करें
इस अंक की सभी सामग्रियों को विस्तार से पढ़ने के लिए खरीदें |

पूर्व सदस्य? लॉग इन करें


वार्षिक सदस्यता लें
सिविल सर्विसेज़ क्रॉनिकल के वार्षिक सदस्य पत्रिका की मासिक सामग्री के साथ-साथ क्रॉनिकल पत्रिका आर्काइव्स पढ़ सकते हैं |
पाठक क्रॉनिकल पत्रिका आर्काइव्स के रूप में सिविल सर्विसेज़ क्रॉनिकल मासिक अंक के विगत 6 माह से पूर्व की सभी सामग्रियों का विषयवार अध्ययन कर सकते हैं |