भारत में ई-अपशिष्ट उत्पादन कारण, प्रभाव एवं चुनौतियां
16 दिसंबर, 2024 को राज्य सभा में केंद्रीय आवास एवं शहरी मामलों के राज्य मंत्री तोखन साहू द्वारा प्रदान की गई जानकारी के अनुसार, भारत में पिछले 5 वर्षों में इलेक्ट्रॉनिक अपशिष्ट (ई-कचरा) उत्पादन में वृद्धि दर्ज की गई है, जो 2019-20 में 1.01 मिलियन मीट्रिक टन (MMT) से बढ़कर 2023-24 में 1.751 मिलियन मीट्रिक टन हो गया है।
ई-अपशिष्ट क्या है?
- ई-अपशिष्ट, उन सभी इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों को कहते हैं, जिनका अब इस्तेमाल नहीं किया जाता, या जिनका जीवन-कल समाप्त हो गया है।
- ई-अपशिष्ट में कई तरह के उपकरण शामिल हैं, जैसे कि कंप्यूटर, लैपटॉप, टैबलेट, मोबाइल फ़ोन, टीवी, प्रिंटर, ....
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