भारतीय रेलवे द्वारा पॉलीक्रैक तकनीक का प्रयोग
- भारतीय रेलवे के पहले अपशिष्ट से ऊर्जा संयंत्र (waste-to-energy plant) का 22 जनवरी, 2020 को भुवनेश्वर में उदघाटन किया गया। इस संयंत्र में पॉलीक्रैक तकनीक का प्रयोग किया जाएगा।
- इस तकनीक का प्रयोग एक महत्वपूर्ण पहल है क्योंकि गैर लौह स्क्रैप का एक बड़ा हिस्सा भारतीय रेलवे के वर्कशॉप में उत्पन्न होता है। स्क्रैप के निपटान और उपचार की कोई कुशल विधि नहीं होने के कारण स्क्रैप को लैंडफिल में भेजा जाता है जो पर्यावरण के लिए खतरनाक है।
पॉलीक्रैक तकनीक क्या है?
- पॉलीक्रैक दुनिया की पहली पहली पेटेंटेड विषम उत्प्रेरक प्रक्रिया है, जो कई फीडस्टॉक्स को हाइड्रोकार्बन, तरल ....
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