मानव जीन एडिटिंग के नैतिक आयाम

मानव जीन एडिटिंग की नवीनतम तकनीक तथा इससे जुड़ी चिंताएं ...

यदि आपकी पहुंच एक ऐसे यंत्र तक हो जाती है, जो आपको अधिक स्मार्ट, अधिक प्रसन्न, अधिक मजबूत तथा रोगमुक्त बना दे तो क्या आप इसे अपनाएंगे? जीवन की अवधि दोगुनी हो कर 150-160 वर्ष तथा बिना किसी थकावट के सोने की अवधि घटाकर 3-4 घंटे हो जाए तो कैसा हो? क्या हो जब उस जीन परिवर्तन को खत्म कर दिया जाए, जिससे अशक्त करने वाली बीमारियां जैसे सिकल सेल एनीमिया या एच.आई.वी./एड्स होते हैं?

यदि इस प्रकार का हस्तक्षेप संभव हो तो स्वास्थ्य ....

क्या आप और अधिक पढ़ना चाहते हैं?
तो सदस्यता ग्रहण करें
इस अंक की सभी सामग्रियों को विस्तार से पढ़ने के लिए खरीदें |

पूर्व सदस्य? लॉग इन करें


वार्षिक सदस्यता लें
सिविल सर्विसेज़ क्रॉनिकल के वार्षिक सदस्य पत्रिका की मासिक सामग्री के साथ-साथ क्रॉनिकल पत्रिका आर्काइव्स पढ़ सकते हैं |
पाठक क्रॉनिकल पत्रिका आर्काइव्स के रूप में सिविल सर्विसेज़ क्रॉनिकल मासिक अंक के विगत 6 माह से पूर्व की सभी सामग्रियों का विषयवार अध्ययन कर सकते हैं |

संबंधित सामग्री